उत्तराखंड : छात्रवृत्ति घोटाले में ED का बड़ा एक्शन..

ख़बर शेयर करें

www. gkmnews

ख़बर शेयर करें

उत्तराखंड में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने छात्रवृत्ति घोटाले में बड़ी कार्रवाई की है। छात्रवृत्ति घोटाले से संबंधित मामले में रुड़की की वर्द्धमान एजुकेशनल सोसायटी की ईडी ने एक करोड़ रुपये से अधिक की संपत्ति अटैच की है। यह सोसायटी रुड़की में दो तकनीकी संस्थानों का संचालन करती है।आरोप है कि इन शिक्षण संस्थानों में अनुसूचित जाति-अनुसूचित जनजाति (एससी-एसटी) के छात्रों का फर्जी तरीके से दाखिला दिखाकर करोड़ों की छात्रवृत्ति हड़पी गई।

इससे सोसायटी ने कई तरह की चल अचल संपत्तियों को अर्जित किया। इस मामले में ईडी पहले भी कई शिक्षण संस्थानों की संपत्तियों को अटैच कर चुकी है।गौरतलब है कि इस घोटाले में पुलिस जांच के बाद ईडी ने भी धन शोधन अधिनियम (पीएमएलए) के तहत कार्रवाई शुरू की थी। ईडी ने उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश और हिमाचल प्रदेश के तमाम शिक्षण संस्थानों को नोटिस भेजकर पूछताछ की थी।

यह भी पढ़ें 👉  उत्तराखंड में प्रचंड गर्मी ने तोड़ा रिकॉर्ड,हीट वेव की चेतावनी...

अब इस मामले में जांच के दौरान ईडी ने रुड़की के वर्द्धमान एजुकेशनल सोसायटी की अचल संपत्ति को अटैच किया है।इस संपत्ति की कीमत करीब एक करोड़ रुपये बताई जा रही है। यह सोसायटी रुड़की में इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट स्टडीज और आईएमएस इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी नाम से शिक्षण संस्थान संचालित करती है।

ईडी से मिली जानकारी के अनुसार इन शिक्षण संस्थानों ने एससी-एसटी वर्ग के छात्रों का फर्जी तरीके से दाखिला दर्शाया। इसके बाद ट्यूशन फीस और तमाम शुल्क के नाम पर समाज कल्याण विभाग से छात्रवृत्ति हासिल कर ली। इसमें से कुछ धन से संपत्तियों की खरीद हुई। जबकि, कुछ धन का प्रयोग चेयरमैन आदि अधिकारियों ने किया। बता दें कि ईडी अब तक चार शिक्षण संस्थानों की करोड़ों रुपये की संपत्तियां अटैच कर चुकी है। बताया जा रहा है कि अब भी ईडी के राडार पर 50 से ज्यादा शिक्षण संस्थान हैं।

यह भी पढ़ें 👉  नैनीताल के जंगलों में लगी भीषण आग की चपेट में ITI बिल्डिंग..Video

लेटेस्ट न्यूज़ अपडेट पाने के लिए -

👉 Join our WhatsApp Group

👉 Subscribe our YouTube Channel

👉 Like our Facebook Page

1 thought on “उत्तराखंड : छात्रवृत्ति घोटाले में ED का बड़ा एक्शन..

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *