उत्तराखंड में छात्रों और युवाओं के सब्र का पैमाना अब सरकार के खिलाफ भारी आक्रोश में तब्दील होता दिखाई दे रहा है। सड़कों पर उतर कर छात्र और युवा प्रदेश में भर्तियों में होने वाली धांधली के मामलों का विरोध कर रहे हैं। गांधी पार्क के पास आंदोलनकारी छात्रों का गुस्सा भड़का। वे सड़क पर उतर आए। यातायात को बाधित कर दिया। इस पर पुलिस ने उन पर लाठीचार्ज कर दिया।
छात्रों ने पुलिसबल पर पथराव भी किया। इससे पहले घंटाघर से राजापुर और एस्लेहॉल से घंटाघर की तरफ का ट्रैफिक जाम कर दिया था। प्रशासन को यातायात सुचारू कराने के लिए प्रशासन को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। पुलिस प्रशासन ने गांधी पार्क के बाहर भारी पुलिस फोर्स तैनाती की। छात्रों को समझाने का प्रयास किया गया। छात्र अपना प्रदर्शन रोकने को तैयार नहीं हुए। इसके बाद पुलिस और प्रदर्शनकारी युवाओं के बीच झड़प हुई है।
उत्तरखंड में लेखपाल, जूनियर इंजीनियर, असिस्टेंट इंजीनियर, लोक सेवा आयोग की तमाम भर्तियों में धांधली का मामला सामने आया है। छात्रों की मांग है कि तमाम भर्तियों में धांधली की जांच सीबीआई से कराई जाए। साथ ही, तत्काल नकल विरोधी कानून बनाने और लेखापाल भर्ती में शामिल नकलचियों की सूची को सार्वजनिक करने की मांग की जा रही है। लेखपाल भर्ती की दोबारा परीक्षा कराए जाने की भी मांग की है। इन मांगों को लेकर बुधवार से छात्रों का प्रदर्शन चल रहा है। देर रात पुलिस ने छात्रों को जबरन उठा दिया था। इसके बाद गुरुवार को प्रदर्शन गहरा गया। प्रदेश के विभिन्न इलाकों में छात्रों का गुस्सा सामने आया है।
देहरादून की राजपुर रोड आज बेरोजगार युवाओं ने घेरी हुई थी मुद्दा बिलकुल सही हैं बेरोजगारों क़ो रोजगार चाहिए लेकिन पेपर लीक जैसे मामलों ने युवाओं के सब्र का बांध तोड़ दिया हैं कल देहरादून के गाँधी पार्क में शांति पूर्ण धरना युवाओं ने दिया लेकिन देर रात देहरादून पुलिस की कार्यवाई और उनके द्वारा किए गए बल प्रयोग ने युवाओं क़ो आक्रोषित कर दिया और बड़ी संख्या में युवाओं ने देहरादून की VIP सड़क क़ो घेर दिया।
धरना प्रदर्शन कर रहे युवाओं का आक्रोश कुछ ही देर में राजधानी की सड़कों पर दिखने लगा। सड़कें जाम हो गईं। जिलाधिकारी युवाओं को समझाने पहुंचीं, लेकिन युवाओं ने एक न सुनी। इस बीच पुलिस द्वारा लाठीचार्ज शुरू करने से मामला और बढ़ गया। वहीं आक्रोशित युवाओं की भीड़ ने भी पुलिस पर पत्थरबाजी शुरू कर दी।
हालांकि अगर पुलिस क़ो देर रात कार्यवाई करनी थी तो फिर सुबह क़ानून व्यवस्था ठीक रहें इसकी व्यवस्था क्यों नहीं की गई लेकिन सुबह से ही देहरादून की सड़को पर अराजकता दिखाई दी युवाओं ज्यादातर युवा शांति के साथ आंदोलन करते दिखाई दिए लेकिन कई ऐसे थे जिन्होंने जनता क़ो परेशान किया लोगों की गाड़िया नहीं जाने दी गई पूरे दिन भर देहरादून के लोग परेशान रहें लेकिन पुलिस 3 बजे के बाद सक्रिय हुई।
गांधी पार्क के सामने विरोध करने युवाओं की भारी भीड़ उमड़ी, जिसके चलते यहां जाम लगाया गया है। घंटाघर से राजपुर रोड की तरफ ट्रैफिक जाम हो गया। उन्होंने मांग उठाई कि पूरे प्रकरण की सीबीआई जांच की जाए और दोषियों को कड़ी सजा दी जाए।
राजधानी देहरादून में आज राजपुर रोड पर सुबह से ही युवाओं की भीड़ प्रदेशभर से जुटने लगी, बड़ा सवाल यह है कि क्या पुलिस इंटेलिजेंस को इतनी भारी संख्या में भीड़ जुटने की आशंका नहीं थी।
या फिर इसे लापरवाही कहा जाए।वही मुख्यमंत्री पुष्कर धामी सहित शासन प्रशासन के तमाम वरिष्ठ अधिकारी भी उक्त घटनाक्रम पर नजर बनाए हुए हैं, विशिष्ट सूत्र ‘बताते हैं कि इस प्रकरण से मुख्यमंत्री धामी काफी नाराज बताये जा रहे हैं और वहीं जिले के कुछ अधिकारियों पर भी गाज गिरने की बातें निकल कर आ रही है।
बिगड़ते हालात के बीच अब सीएम पुष्कर सिंह धामी का बयान सामने आया है। सीएम ने युवाओं को आश्वस्त किया कि उनके भविष्य के साथ कोई खिलवाड़ नहीं किया जाएगा। कहा कि हमने घोटाला किया न दबाया है। उन्होंने युवाओं से किसी के बहकावे न आने की अपील की।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि युवाओं के हितों की रक्षा करना सबसे पहला दायित्व है। नकल रोकने के लिए कानून बनाया जाएगा। घोटाले के दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा मिलेगी।जिसमे लगभग सभी गुनहगारों को अभी तक जेल की सलाखों के पीछे डाला भी जा चुका है।
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