चारधाम यात्रा से पहले क्यों हांफ रही है रुद्रप्रयाग की लाइफलाइन, अलकनंदा पर बना पुल..

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उत्तराखंड : चारधाम यात्रा के बेहद अहम पड़ाव रुद्रप्रयाग में अलकनंदा नदी पर बनाया गया पुल अब जर्जर हालत में है. वर्ष 2013 की आपदा में भी पुल को काफी क्षति पहुंची थी.

रुद्रप्रयाग जनपद की हजारों की आबादी को जोड़ने के लिये अलकनंदा नदी पर रुद्रप्रयाग में बनाया गया पुल जर्जर हालत में है. भारी वाहनों के चलने से पुल में कंपन होने लगती है. पहले ही वर्ष 2013 की आपदा में पुल को काफी क्षति पहुंच चुकी है, लेकिन आज तक पुल ठीक नहीं हो पाया है. आये दिन भारी वाहनों के चलने से पुल की हालत जर्जर बन चुकी है और कभी भी कोई दुर्घटना घट सकती है. बता दें कि चारधाम यात्रा मार्ग के अलावा यह पुल यहां के हजारों की आबादी को जोड़ती है.

1960 के दशक में केदारनाथ मार्ग को जोड़ने के लिए अलकनन्दा पर इस पुल का निर्माण किया गया था. उस दौरान इस पुल की वाहन क्षमता 14 टन हुआ करती थी. मगर अब पुल काफी कमजोर हो चुका है. बता दें कि इसी पुल से होकर केदारनाथ यात्रा संचालित होती है. पूरी जखोली, तल्लानागपुर घाटी व केदारघाटी के वाहन इसी पुल से होकर गुजरते हैं.

रुद्रप्रयाग में अलकनंदा नदी के ऊपर कई दशकों पूर्व बनी पुल स्थित है. रखरखाव के अभाव में यह पुल जर्जर हो चुका है. लगभग 50 मीटर लंबे इस पुल को 16-17 जून 2013 की आपदा में भी काफी क्षति पहुंची थी. पुल पर एक वक्त पर एक ही वाहन चलाने के निर्देश हैं, लेकिन पुल पर एक साथ कई वाहन चलते हैं, जिससे पुल की स्थिति दिन-प्रतिदिन जर्जर होती जा रही है.

रुद्रप्रयाग जनपद की हजारों की आबादी इससे जुड़ी हुई है. वहीं चारधाम यात्रा का संचालन भी इसी पुल से होता है. केदारघाटी और केदारनाथ धाम को जोड़ने के लिये यही पुल निर्मित है. पुल के रखरखाव की मांग की जा रही है. पुलिस अधीक्षक आयुष अग्रवाल ने कहा कि पुल के दोनों छोरों पर ट्रैफिक पुलिस को तैनात किया गया है और एक साथ में एक से दो वाहन को आर-पार कराया जा रहा है.

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