कुमाऊं के एकमात्र महिला चिकित्सालय में जहां दिन प्रतिदिन ओपीडी और प्रसव के मामले बढ़ रहे हैं तो वहीं अस्पताल में चिकित्सकों और स्टाफ कर्मियों की खासी कमी है। पहाड़ के दूरदराज क्षेत्रों से महिलाएं यहां अपना इलाज कराने आती हैं लेकिन अस्पताल में स्टाफ और डॉक्टरों की कमी के चलते मरीजों को परेशानी उठानी पड़ रही है। खासकर स्टाफ नर्स की खासी कमी है ।
जिनमें 19 पदों के सापेक्ष महज 7 स्टाफ नर्स ही यहां कार्यरत हैं। इसके अलावा डॉक्टरों के भी पद भी खाली हैं महिला अस्पताल के सीएमएस डॉ उषा जंगपांगी ने बताया कि वर्तमान में शासन से कुछ स्टॉफ और चिकित्सकों की नियुक्ति हुई है लेकिन अभी भी स्टाफ पूरा नहीं है। यहां गायनोलॉजिस्ट के 8 पद के सापेक्ष में चार पदों पर तैनाती है। उनका कहना है कि पिछले दिनों अस्पताल को कई नए डॉक्टर मिले हैं जिसके बाद से व्यवस्था दुरुस्त हुई है लेकिन रोजाना 250 से 300 के बीच ओपीडी और महीने में 350 से 400 के बीच प्रसव महिला अस्पताल में किए जाते हैं इसके लिए स्टॉफ की कमी एक चुनौती है।
गौरतलब है कि हल्द्वानी स्थित महिला अस्पताल कुमाऊं का एकमात्र महिला हॉस्पिटल है जहां पहाड़ों के साथ-साथ उधम सिंह नगर से भी भारी संख्या में महिला मरीज इलाज के लिए पहुचती हैं। अस्पताल में अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस 50 बेड के हॉस्पिटल में जच्चा बच्चा के लिए सभी तरह की सुविधाएं उपलब्ध है बस जरूरत है तो एक अदद पूर्ण स्टॉफ की।
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