उत्तराखंड : इस विभाग में कर्मचारी लाये सिफारिश लेटर तो होगा सख्त एक्शन .. ये आदेश हुए जारी..

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उत्तराखंड : कई बार देखा गया है की कर्मचारी अपना प्रमोशन या ट्रांसफर के लिए विधायकों या मंत्रियों के सिफारिशी लेटर लेकर आते हैं जिस के संदर्भ में आदेश जारी किया गया है यदि इसके बाद भी किसी कर्मचारी के द्वारा सिफारिश लेटर लाया जाता है तो सख्त कार्रवाई की जाएगी।

विभागीय कार्मिकों द्वारा महामहिम  राज्यपाल / मा० मुख्य मंत्री / मा0 मंत्रीगण / मा०विधायकगण / शासन / निदेशालय से किये जा रहे पत्राचार के सन्दर्भ में बड़ा आदेश जारी किया गया है.

02 जून, 2022 का संदर्भ ग्रहण करें, जिसके द्वारा कार्मिकों को शासकीय नियमों की परिधि में रहकर ही उच्चाधिकारियों से पत्राचार करने के निर्देश दिये गये थे, जिसका अनुपालन कतिपय कार्मिकों द्वारा नहीं किया जा रहा है।

उच्च स्तर से रोष प्रकट किया गया है कि उच्च शिक्षा विभागान्तर्गत सेवारत कतिपय कार्मिकों द्वारा उत्तराखण्ड कर्मचारी आचरण नियमावली, 2002 के प्रस्तर- 3 ( 2 ) की अवहेलना करते हुए सीधे स्वयं के नाम से महामहिम श्री राज्यपाल, मा० मुख्य मंत्री, मा० मंत्रियों, मा० विधायकों आदि को विभिन्न प्रकरणों पर प्रार्थना पत्र प्रेषित किये जा रहे हैं, जो कि नियमों के विरुद्ध तथा विभागीय गरिमा के प्रतिकूल है।

प्राचार्यों को पुनः निर्देशित किया जाता है कि महाविद्यालय के समस्त कार्मिकों को कार्यालय आदेश के माध्यम से अनिवार्य रूप से सूचित कराते हुए उक्त आदेश में कार्मिकों के नाम सहित हस्ताक्षर युक्त प्राचार्य द्वारा प्रमाणित प्रति डिग्री सेवा -1 की ई मेल ([email protected]) पर 03 दिन के भीतर उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें।

भविष्य में महामहिम एवं माननीयों को सीधे पत्र प्रेषण पर उत्तराखण्ड कर्मचारी आचरण नियमावली के उल्लंघन पर उत्तराखण्ड सरकारी सेवक (अनुशासन एवं अपील) नियमावली, 2003 ( समय-समय पर यथा संशोधित) के संगत प्राविधानों के अनुसार अनुशासनिक कार्यवाही की जायेगी ।

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