उत्तराखण्ड उच्च न्यायालय ने जूनियर हाईस्कूल के शिक्षकों के वेतन से रिकवरी सम्बन्धी शिक्षा निदेशक प्रारम्भिक शिक्षा के आदेश पर रोक लगा दी है। जूनियर हाईस्कूल में पदोन्नत शिक्षकों को पूर्व में सरकार ने 4600 का वेतनमान दिया। जिसे बाद में गलत मानते हुए उनके वेतन से रिकबरी करने के आदेश किये गए। जबकि सीधी भर्ती वाले शिक्षकों को यह वेतनमान मिल रहा है। न्यायालय ने इस मामले में राज्य सरकार, शिक्षा निदेशक प्रारम्भिक व अन्य को नोटिस जारी कर चार हफ्ते में जबाव दाखिल करने के निर्देश दिए हैं । मामले की सुनवाई न्यायमूर्ति मनोज कुमार तिवारी की एकलपीठ में हुई ।
मामले के अनुसार जूनियर हाईस्कूल शिक्षक संघ से जुड़े 936 शिक्षकों व अन्य ने उच्च न्यायालय में याचिका दायर कर प्रारम्भिक शिक्षा निदेशक के 4 अगस्त 2022 के आदेश को चुनौती देते हुए कहा कि उन्हें पूर्व में 4600 का वेतनमान दिया गया था। लेकिन अब विभाग ने इसको गलत ठहराते हुए रिकवरी के आदेश किये हैं। निदेशक प्रारंभिक शिक्षा ने सभी जिला शिक्षा अधिकारियों को 2018 से पहले जिन शिक्षकों को 4600 का लाभ दिया, उनसे रिकवरी करने को कहा है। इसी तरह का मामला पूर्व में भी इसी न्यायालय में आया था लेकिन तब न्यायालय ने यह आदेश निरस्त कर दिया था और प्रत्यावेदन निस्तारित करने को कहा था। लेकिन विभाग ने नए सिरे से रिकवरी के आदेश जारी किए हैं जिसे न्यायालय ने फिलहाल रोक लगा दी है ।
वरिष्ठ पत्रकार कमल जगाती
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