उत्तराखण्ड में नैनीताल से अल्मोड़ा राष्ट्रीय राजमार्ग 87ई में भारी भूस्खलन होने से मार्ग बाधित हो गया है। पोकलैंड मशीन के सड़क से लगातार मलुवा हटाने के बावजूद पहाड़ी से निरंतर मलुवा गिरता जा रहा है। विभाग ने एक दो-एक दो करके धीरे धीरे वाहनों को निकालने का काम किया। सड़कें बन्द होने से ग्रामीणों की सब्जी, दूध आदि कच्चा माल खराब होने का डर बन रहा है।
नैनीताल जिले में लगातार हो रही बरसात के चलते भवाली-खैरना/गरमपानी मार्ग में भूस्खलन हो गया। भूस्खलन के चलते हाईवे बंद हो गया और इसपर चलने वाला यातायात थम गया। बीते तीन दिनों से क्षेत्र में हो रही बारिश के बाद मेढक(फ्रॉग)पॉइंट पर भूस्खलन हुआ और मार्ग बाधित हो गया।
हालाकिं आज सुबह जे.सी.बी.और पोकलैंड मशीन की मदद से कुछ समय के लिए सड़क को खोल दिया गया। प्रशासन ने वाहनों की आवाजाही के लिए यातायात को डाइवर्ट करते हुए भवाली वाया रामगढ़-क्वारब होते हुए अल्मोड़ा और रानीखेत जाने का रास्ता सुझाया है।
बरसात के बाद जिले की लगभग 38 सड़कें बंद हैं, जिससे जनजीवन पूरी तरह से प्रभावित हो गया है। जिले के अधिकांश ग्रामीण मार्ग बंद होने के कारण किसानों को फल, सब्जी और दूध को बाजार और मंडी पहुंचाने में परेशानियां हो रही हैं। कैंचीं धाम तहसील कर्मियों ने अपने वाहन से लोगों को केवल जरूरी काम होने पर ही निकलने की हिदायत दी।
वरिष्ठ पत्रकार कमल जगाती
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