“58वां निरंकारी संत समागम : आध्यात्मिक विस्तार की ओर”

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हल्द्वानी: जहां एक ओर समाज संकीर्णता के दायरों में बंटा हुआ है, वहीं संत निरंकारी मिशन एक नई दिशा में आगे बढ़ते हुए इन दीवारों को गिराने का कार्य कर रहा है। सतगुरु माता सुदीक्षा जी महाराज के पावन सानिध्य में, महाराष्ट्र का ५८वां वार्षिक निरंकारी संत समागम २४ से २६ जनवरी २०२५ तक पिंपरी पुणे में ‘विस्तार असीम की ओर’ विषय पर आयोजित होगा।

इस महाकुंभ में देश-विदेश से लाखों श्रद्धालु एकत्र होंगे, जो आध्यात्मिक मंथन के इस दिव्य रूप का हिस्सा बनेंगे। ३०० एकड़ क्षेत्र में सजने वाले इस भव्य समागम का सीधा प्रसारण दुनिया भर में होगा।

निरंकारी संत समागम के आयोजन में संत निरंकारी मिशन के सेवादारों की टीम ने स्वास्थ्य, सुरक्षा, यातायात, पार्किंग और स्वच्छता जैसे महत्वपूर्ण पहलुओं पर ध्यान दिया है, जिसमें लगभग १५,००० सेवादारों की भागीदारी होगी।

मुख्य कार्यक्रम हर दिन दोपहर २ बजे से रात ८:३० बजे तक होगा, जिसमें विद्वान और संगीतज्ञ भक्ति भाव की प्रस्तुति देंगे। इस वर्ष विशेष आकर्षण रूहानी कवि दरबार समागम होगा, और अंत में सतगुरु माता सुदीक्षा जी और निरंकारी राजपिता रमित जी के प्रेरक प्रवचनों से श्रद्धालु लाभान्वित होंगे।

संत निरंकारी मिशन द्वारा एक प्रदर्शनी भी लगाई जाएगी, जहां मिशन के इतिहास, दर्शन और सामाजिक गतिविधियों का चित्रण होगा। समागम के आयोजन में महाराष्ट्र राज्य की एजेंसियों का भी योगदान रहेगा, जिससे यह समागम और भी सुसंगठित होगा।

आध्यात्मिक विचारों के इस विस्तार का हिस्सा बनने के लिए आप सभी का स्वागत है।

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